हमें Electric Shock क्यों लगता है
विद्युत क्षेत्र एक अत्यंत संवेदनशील क्षेत्र है जिसमें कार्य के दौरान दुर्घटना की निरंतर संभावना बनी रहती है । जैसे विद्युत का झटका shock लगना या आग पकड़ना इत्यादि ।
कभी हमने सोचा है की विधुत झटका shock क्यों लगता है विद्युत झटका लगने का एक मुख्य कारण है जो निम्न प्रकार है-
कभी हमने सोचा है की विधुत झटका shock क्यों लगता है विद्युत झटका लगने का एक मुख्य कारण है जो निम्न प्रकार है-
जब सामान्यतः 90वोल्ट से अधिक वोल्टेज पर हमारे शरीर के आर - पार विद्युत धारा प्रवाह स्थापित हो जाता है तो हमें एक झटके का अनुभव होता है
इसका कारण है की विधुत धारा current की गति और हमारे शरीर में रक्त प्रवाह की गति का एक नहीं होना है क्योकि हमें पता है की विधुत धारा की गति हमारे शरीर में रक्त प्रवाह की गति से बहुत ज्यादा है जिसके कारण हमें झटके का अनुभव होता है ।
इसका कारण है की विधुत धारा current की गति और हमारे शरीर में रक्त प्रवाह की गति का एक नहीं होना है क्योकि हमें पता है की विधुत धारा की गति हमारे शरीर में रक्त प्रवाह की गति से बहुत ज्यादा है जिसके कारण हमें झटके का अनुभव होता है ।
विधुत झटके के प्रभाव को कम करने के लिए ही जलयानों, थलयानों एवं वायुयानों आदि में सप्लाई वोल्टेज 110 रखा जाता है ।
किसी व्यक्ति को लगा झटका इस बात पर निर्भर करता है कि विद्युत घारा की कितनी मात्रा, कितने समय तक उस व्यक्ति के शरीर से प्रवाहित हुई है । अर्थात् यदि 10 mA की धारा 3-4 sec . तक प्रवाह हो जाए तो व्यक्ति की मृत्यु हो सकती है ।
विद्युत दुर्घटनाओं से बचने के लिए हमें समस्त सुरक्षा उपायों की जानकारी होनी चाहिए तथा कार्यशालाओं में लगे सुरक्षा संकेतों का अनुपालन करना चाहिए ।
साथ ही भलीभांति हमें आग के प्रकारो की भी जानकारी होनी चाहिए ताकि हम आग के प्रकार के अनुसार ही अग्निशामक यन्त्र का प्रयोग कर सके।
साथ ही भलीभांति हमें आग के प्रकारो की भी जानकारी होनी चाहिए ताकि हम आग के प्रकार के अनुसार ही अग्निशामक यन्त्र का प्रयोग कर सके।
प्रत्येक कार्यशाला में अग्निशामक यंत्र आवश्यक रूप से उपलब्ध होने चाहिए क्योंकि विद्युत के शॉर्ट - सर्किट अथवा अन्य किसी कारण से कार्यशाला में लगी आग की रोकथाम आवश्यक है ।
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